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अर्थ साइंस सिटी में इसमें ब्रह्मांड में हो रही सारी घटनाओं को वैसे ही प्रदर्शित किया जाएगा जैसे वह हैं और नॉलेज मैपिंग विश्व के चप्पे-चप्पे का त्रियामी चित्रण कर उसपर एक फिल्म बनाएगा और चौबीसों घंटे उन्हें लाइव दिखाएगा।

  • एक पॉलिमथ (बहु-विषयक) के रुप में आपने देशों की नीतियां बनाई और ब्रांडिंग भी की है। आपका दृष्टिकोण भारत को विश्व गुरु में बनाने में कैसे सहयोग कर सकता है?

एक बहुविषयक की बहुत सारी विशेषताएं होती हैं। वह विज्ञान, तर्क, नीतिशास्त्र, अंतरराष्ट्रीय संबंध, पर्यावरणीय मुद्दों, आर्थिक मुद्दों सामरिक मुद्दों और अदृश्य मुद्दों को भी जोड़ सकता है। विचारों और एआई के सहयोग से भारत की नई नीति निर्माण में सहयोग किया जा सकता है।

  • क्या आप अथ साइस सिटी और नॉलेज मैपिंग जैसी पहलों और भारत के वैश्विक ब्रांड को मजबूत करने में उनकी भूमिका के बारे में विस्तार से बता सकते हैं?

अर्थ साइंस सिटी एक ऐसा प्रोजेक्ट है जो समस्त विश्व और ब्रहमांड का पृथ्वी पर एक छोटा मॉडल है। इसमें ब्रह्मांड में हो रही सारी घटनाओं को वैसे ही प्रदर्शित किया जाएगा जैसे वह हैं। इसका उद्देश्य एक साझा आधार तैयार करना है जिन्हें वैज्ञानिक समाधानों के लिए उपयुक्त स्थान के रूप में डिजाइन किया गया है, जिसमें भविष्य के लिए नीति निर्माण की आधारशिला भी बनाई जाएगी और और प्राकृतिक संसाधनों का संरक्षण किया जाने का प्रावधान है।

नॉलेज मैपिंग विश्व के चप्पे-चप्पे का त्रियामी चित्रण कर उसपर एक फिल्म बनाएगा और चौबीसों घंटे उन्हें लाइव दिखाएगा। इससे विश्व के किसी हिस्से को कभी भी किसी भी रूप में कहीं भी देखा जा सकता है।

  • लड़कियों पर केंद्रित आपके पाठ्यक्रम की क्या विशेषता है और यह भारत और विश्व के अन्य देशों में शिक्षा और नीति को कैसे आकार दे रहा है?

लड़कियों को मौके कम मिलते हैं जबकि लड़कियां लड़कों से किसी क्षेत्र में कम नहीं हैं। यदि किसी भी देश में लड़कियों के व्यक्तित्व का रूपांतरण किया जाता है तो न केवल आधी -आबादी उपयोगी हो जाती है बल्कि प्रशासन में सुधार होता है, अपराध दर में गिरावट आती है। इस कार्यक्रम में लड़कियों को अस्मिता निर्माण, सौंदर्य बोध में वृद्धि, भाषा एवं बातचीत में सुधार, न्यूरोप्लास्टिसिटी की ट्रेनिंग एआई और चैट जीपीटी प्रेरित प्रबंधन, विचारों का संतुलन, सामाजिक पूंजी का निर्माण और उसका उपयोग, कॅरिअर संबंधी निर्णय लेना, अस्मिता पहचान इत्यादि का प्रशिक्षण दिया जाएगा। इससे एक ऐसे वैश्विक दृष्टिकोण का निर्माण होगा जो उन्हें भविष्य की राह दिखाएगा।

  • भूराजनीतिक सलाहकार की भूमिका में विशेष रूप से द्वीप राष्ट्रों पर जलवायु परिवर्तन के प्रभाव और संभावित चीनी कब्जे का मुकाबला करने की रणनीतियों के बारे में क्या आप कुछ अंतर्दृष्टि प्रदान कर सकते हैं?

पर्यावरणीय क्षरण एक समस्या के रूप में अब हमारे बीच है और वह रहेगा भी। लेकिन पर्यावरण की सभी समस्याओं के बारे में सूचना और इससे संबंधित जानकारियों को प्राप्त करने के बारे में और भी सजगता और सतर्कता की आवश्यकता होगी। तार्किक रूप से यह समझा जा सकता है कि तापमान में वृद्धि के कारण हिंद महासागर में धाराओं में परिवर्तन चक्रवातों की बारंबारता में वृद्धि, विस्मयकारी सूखा और बाढ़ की घटनाएं द्वीपीय देशों को प्रभावित करेगा उतना ही नहीं चीन जैसे देश पर्यावरण पर्यावरण को हथियार बनाकर इस्तेमाल भारत के विरुद्ध और संपूर्ण विश्व के विरुद्ध कर सकते हैं।

  • आपने सामाजिक चिंतक के हैसियत से राष्ट्र की सुरक्षा हेतु जो संज्ञानात्मक योद्धा बनाने की पहल की है वह विश्व में अपने किस्म का सबसे अजूबा पहल है। आप इसके बारे में थोड़ा विस्तार से बताइए।

यह जो पहल है इसका मुख्य उद्देश्य राष्ट्रीय सुरक्षा, सामाजिक पूंजी और जागरूकता, वैश्विक अर्थव्यवस्था में भारतीय युवाओं की अधिक से अधिक भागीदारी लाना है क्योंकि अब भविष्य का कोई भी युद्ध केवल अस्त्रों- शस्त्रों से नहीं लड़ा जाएगा। यह युद्ध साइबर, स्पेस, आईटी वातावरण या ज्ञान संबंधी (AI) संग्राम होगा। भविष्य उन्हीं का होगा जो परिवर्तनों के प्रति अपने आप को समायोजित करते रहेंगे। हमारे कार्यक्रम द्वारा एक ऐसे मंच का निर्माण किया गया है जहां आपका सुधार और कौशल निर्माण हो, जैसे वाक कुशलता, समाज में नेटवर्किंग बनाने की कला, एआई प्रबंधन, किताब लिखने की कला, चुनाव लड़ने और उद्यमी बनने की कला का विकास किया जा सके।

K. Siddhartha

(Strategic Thinker, Earth Scientist, Author & Mentor)

www.ksiddhartha.com

Source: Amarujala | Udaan
स्रोत: अमर उजाला | उड़ान

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